भारत के छिपे हुए रत्न: अनदेखे, अछूते पर्यटन स्थल
भारत, एक ऐसा देश जो अपनी विविधता, संस्कृति और इतिहास के लिए जाना जाता है, पर्यटकों के लिए हमेशा से ही एक आकर्षक गंतव्य रहा है। ताजमहल, गोवा के बीच और केरल के बैकवाटर्स जैसे प्रसिद्ध स्थलों के अलावा, भारत में कई ऐसे छिपे हुए रत्न भी हैं जो अभी भी पर्यटकों की भीड़ से दूर हैं। ये अनदेखे और अछूते स्थल उन लोगों के लिए एक शानदार अनुभव प्रदान करते हैं जो कुछ अलग और अनोखा देखना चाहते हैं। इस लेख में, हम भारत के कुछ ऐसे ही छिपे हुए रत्नों के बारे में जानेंगे, जो आपको निश्चित रूप से आश्चर्यचकित कर देंगे।
अरुणाचल प्रदेश: पूर्वोत्तर भारत का स्वर्ग
अरुणाचल प्रदेश, जिसे 'उगते सूरज की भूमि' के रूप में भी जाना जाता है, पूर्वोत्तर भारत का एक खूबसूरत राज्य है। यह राज्य अपनी प्राकृतिक सुंदरता, शांत वातावरण और अद्वितीय संस्कृति के लिए जाना जाता है। यहाँ की हरी-भरी पहाड़ियाँ, घने जंगल और बहती नदियाँ पर्यटकों को मंत्रमुग्ध कर देती हैं।
- तवांग: तवांग एक छोटा सा शहर है जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता और बौद्ध मठों के लिए प्रसिद्ध है। तवांग मठ भारत का सबसे बड़ा बौद्ध मठ है और यह तिब्बती बौद्ध धर्म के गेलुग संप्रदाय का एक महत्वपूर्ण केंद्र है।
- ज़िरो घाटी: ज़िरो घाटी अपनी अनूठी कृषि प्रणाली और आपातानी जनजाति के लिए जानी जाती है। आपातानी जनजाति चावल की खेती के लिए एक विशेष प्रकार की सिंचाई प्रणाली का उपयोग करती है, जो इसे दुनिया भर में अद्वितीय बनाती है।
- सेला पास: सेला पास एक ऊँचा पहाड़ी दर्रा है जो तवांग को शेष भारत से जोड़ता है। यह दर्रा अपनी बर्फ से ढकी चोटियों और खूबसूरत दृश्यों के लिए जाना जाता है।
यात्रा सुझाव: अरुणाचल प्रदेश जाने के लिए आपको इनर लाइन परमिट (ILP) की आवश्यकता होगी। आप इसे ऑनलाइन या गुवाहाटी में स्थित अरुणाचल प्रदेश सरकार के कार्यालय से प्राप्त कर सकते हैं।
मेघालय: बादलों का घर
मेघालय, जिसका अर्थ है 'बादलों का घर', भारत का एक और खूबसूरत राज्य है। यह राज्य अपनी हरी-भरी पहाड़ियाँ, झरने और जीवित जड़ पुलों के लिए जाना जाता है। मेघालय भारत में सबसे अधिक वर्षा वाला क्षेत्र भी है।
- चेरापूंजी: चेरापूंजी, जिसे सोहरा के नाम से भी जाना जाता है, दुनिया में सबसे अधिक वर्षा वाला स्थान है। यहाँ आप खूबसूरत झरने, गुफाएँ और जीवित जड़ पुल देख सकते हैं।
- मावल्यान्नॉन्ग: मावल्यान्नॉन्ग को एशिया का सबसे स्वच्छ गाँव माना जाता है। यह गाँव अपनी स्वच्छता, सुंदर बगीचों और जीवित जड़ पुलों के लिए जाना जाता है।
- डबल डेकर लिविंग रूट ब्रिज: यह एक अनोखा पुल है जो पेड़ों की जड़ों से बना है। यह पुल मेघालय की खासी जनजाति द्वारा बनाया गया है और यह दुनिया भर में अपनी तरह का एकमात्र पुल है।
यात्रा सुझाव: मेघालय घूमने का सबसे अच्छा समय अक्टूबर से मई तक है। इस दौरान मौसम सुहावना रहता है और आप आसानी से सभी दर्शनीय स्थलों का भ्रमण कर सकते हैं।
हम्पी: खंडहरों का शहर
हम्पी, कर्नाटक राज्य में स्थित एक प्राचीन शहर है। यह शहर विजयनगर साम्राज्य की राजधानी था और 14वीं शताब्दी में दुनिया के सबसे धनी शहरों में से एक था। आज, हम्पी खंडहरों का एक शहर है, लेकिन यह अभी भी अपनी वास्तुकला और इतिहास के लिए पर्यटकों को आकर्षित करता है।
- विरुपाक्ष मंदिर: विरुपाक्ष मंदिर हम्पी का सबसे महत्वपूर्ण मंदिर है। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और यह विजयनगर साम्राज्य की वास्तुकला का एक उत्कृष्ट उदाहरण है।
- हज़ार राम मंदिर: हज़ार राम मंदिर हम्पी का एक और महत्वपूर्ण मंदिर है। यह मंदिर भगवान राम को समर्पित है और यह अपनी दीवारों पर बनी रामायण की कहानियों के लिए जाना जाता है।
- विट्ठल मंदिर: विट्ठल मंदिर हम्पी का सबसे सुंदर मंदिर है। यह मंदिर भगवान विट्ठल को समर्पित है और यह अपनी पत्थर की नक्काशी और संगीत स्तंभों के लिए जाना जाता है।
यात्रा सुझाव: हम्पी घूमने का सबसे अच्छा समय नवंबर से फरवरी तक है। इस दौरान मौसम सुहावना रहता है और आप आसानी से सभी दर्शनीय स्थलों का भ्रमण कर सकते हैं।
खजुराहो: मंदिरों का शहर
खजुराहो, मध्य प्रदेश राज्य में स्थित एक छोटा सा शहर है। यह शहर अपने प्राचीन मंदिरों के लिए जाना जाता है, जो अपनी कामुक मूर्तियों के लिए प्रसिद्ध हैं। खजुराहो के मंदिरों का निर्माण 10वीं और 12वीं शताब्दी के बीच चंदेल राजवंश द्वारा करवाया गया था।
- कंदरिया महादेव मंदिर: कंदरिया महादेव मंदिर खजुराहो का सबसे बड़ा और सबसे महत्वपूर्ण मंदिर है। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और यह अपनी जटिल नक्काशी और कामुक मूर्तियों के लिए जाना जाता है।
- चौसठ योगिनी मंदिर: चौसठ योगिनी मंदिर खजुराहो का सबसे पुराना मंदिर है। यह मंदिर 64 योगिनियों को समर्पित है और यह अपनी अनूठी वास्तुकला के लिए जाना जाता है।
- लक्ष्मण मंदिर: लक्ष्मण मंदिर खजुराहो का एक और महत्वपूर्ण मंदिर है। यह मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है और यह अपनी सुंदर मूर्तियों और नक्काशी के लिए जाना जाता है।
यात्रा सुझाव: खजुराहो घूमने का सबसे अच्छा समय अक्टूबर से मार्च तक है। इस दौरान मौसम सुहावना रहता है और आप आसानी से सभी दर्शनीय स्थलों का भ्रमण कर सकते हैं।
निष्कर्ष
भारत एक विशाल और विविध देश है, जिसमें पर्यटकों के लिए बहुत कुछ है। प्रसिद्ध स्थलों के अलावा, भारत में कई ऐसे छिपे हुए रत्न भी हैं जो अभी भी पर्यटकों की भीड़ से दूर हैं। अरुणाचल प्रदेश, मेघालय, हम्पी और खजुराहो जैसे ये अनदेखे और अछूते स्थल उन लोगों के लिए एक शानदार अनुभव प्रदान करते हैं जो कुछ अलग और अनोखा देखना चाहते हैं। तो अगली बार जब आप भारत की यात्रा की योजना बनाएं, तो इन छिपे हुए रत्नों को अपनी सूची में शामिल करना न भूलें।



